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जाति नहीं, ज्ञान से होता है मूल्यांकन: आयुष मंत्री दयाशंकर मिश्र का अखिलेश यादव पर तीखा पलटवार

  • bharatvarshsamaach
  • Jun 30
  • 2 min read

स्थान: वाराणसी

रिपोर्ट: वाराणसी संवाददाता

तारीख: 30 जून 2025


उत्तर प्रदेश के आयुष मंत्री दयाशंकर मिश्र 'दयालु' ने समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव पर तीखा हमला बोलते हुए कहा है कि "देश में कभी संत, ऋषि, महात्मा और ब्रह्मर्षियों की जाति नहीं जानी गई, उनकी पहचान उनके ज्ञान और विद्वता से होती थी।"

उन्होंने यह बयान वाराणसी में मीडिया से बातचीत के दौरान दिया, जिसमें उन्होंने अखिलेश यादव द्वारा कथावाचकों को लेकर की गई टिप्पणी पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की।


जाति नहीं, ज्ञान है पहचान


दयाशंकर मिश्र ने कहा कि अखिलेश यादव जाति के चश्मे से कथावाचकों को देख रहे हैं, जो दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा कि आज देश में ऐसे-ऐसे विद्वान कथावाचक हैं, जिनके चरणों की धूल लोग अपने माथे पर लगाने को तैयार रहते हैं

“अखिलेश यादव को ज्ञान की बात करनी चाहिए, न कि जातिगत बयानबाज़ी। आधा-अधूरा ज्ञान कई बार अपमान का कारण बनता है।”

इतिहास में कभी जाति से काम नहीं बंटा

आयुष मंत्री ने कहा कि महाराणा प्रताप, छत्रपति शिवाजी महाराज और रानी लक्ष्मीबाई के पीछे कभी किसी ने जाति का उल्लेख नहीं किया। उनका कर्म ही उनकी पहचान बना।

“इस देश में ‘कर्म’ की पूजा होती थी। क्षत्रिय सीमा की रक्षा करते थे, ब्राह्मण वेद पढ़ते थे, और समाज अपने कर्म के अनुसार संगठित था — लेकिन यह जातिगत भेदभाव नहीं था।”

विपक्ष ने जातिवाद को बढ़ाया


दयाशंकर मिश्र ने आरोप लगाया कि विपक्ष ने व्यक्तिगत स्वार्थ और सत्ता की राजनीति के लिए समाज में जातिवाद का ज़हर घोला। उन्होंने कहा कि आज जाति सर चढ़कर बोल रही है, क्योंकि राजनीतिक दलों ने स्वार्थ में इसे हथियार बना दिया है।

बाइट – दयाशंकर मिश्र, आयुष मंत्री, उत्तर प्रदेश सरकार:“जाति नहीं, ज्ञान और कर्म समाज की असली पहचान होते हैं। अखिलेश यादव जैसे नेताओं को समाज को जोड़ने वाली बात करनी चाहिए, तोड़ने वाली नहीं।



रिपोर्टर: नौमेश कुलदीप श्रीवास्तव, वाराणसी

भारतवर्ष समाचार

संपर्क: 9410001283

वेबसाइट: www.bharatvarshsamachar.org



 
 
 

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