बिजनौर में आफत बनी बारिश, गंगा और नदियों का उफान बना खतरा
- bharatvarshsamaach
- Aug 6
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रिपोर्टर: शकील अहमद, बिजनौर
बिजनौर — उत्तर भारत के पहाड़ी और मैदानी इलाकों में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश ने बिजनौर जनपद में तबाही मचा दी है। गंगा सहित तमाम नदियों का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है, जिससे गांव-गली, खेत-खलिहान और शहर की सड़कें तालाबों में तब्दील हो चुकी हैं। हालात इतने भयावह हो गए हैं कि सरकारी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) तक में पानी भर गया है, जिससे कीमती दवाएं और उपकरण बर्बाद हो चुके हैं।
तस्वीरें जो बयां कर रही तबाही की दास्तान
तीन दिन से जारी भारी बारिश ने बिजनौर के कई क्षेत्रों में बाढ़ जैसे हालात पैदा कर दिए हैं। बारिश का पानी कच्चे-पक्के मकानों को गिराने पर आमादा है। कई घरों की छतें ध्वस्त हो गई हैं, और कुछ स्थानों पर मकानों के लिंटर तक ढह गए। लोगों के चेहरे पर डर और बेबसी साफ देखी जा सकती है।मौतों की संख्या धीरे-धीरे बढ़ रही है, जिससे जिला प्रशासन की चिंता भी गहराती जा रही है।
स्वास्थ्य सेवाएं भी चपेट में
सबसे चिंताजनक स्थिति अफजलगढ़ CHC की है, जहां कई फीट पानी भरने से सरकारी दवाओं और मशीनों को भारी नुकसान हुआ है। डॉक्टरों और स्वास्थ्यकर्मियों को भी मरीजों की सेवा में भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
बाईट: सरकारी चिकित्सक, CHC अफजलगढ़
"लगातार बारिश के चलते अस्पताल परिसर में पानी भर गया है। हमारी कई जरूरी दवाएं खराब हो चुकी हैं और उपकरण भी पानी में डूबे हैं। हम हर मुमकिन कोशिश कर रहे हैं कि मरीजों को कोई असुविधा न हो, लेकिन हालात बहुत गंभीर हैं।"
गांवों में हालात बदतर
नूरपुर थाना क्षेत्र के गोहावर गांव में बारिश ने भारी तबाही मचाई है। वहां के ग्रामीण जान जोखिम में डालकर घरों और जानवरों की सुरक्षा में लगे हैं। नालों का पानी घरों में घुस गया है और दैनिक जीवन पूरी तरह से अस्त-व्यस्त हो चुका है।
निष्कर्ष
अगर बारिश का यही सिलसिला जारी रहा तो आने वाले दिनों में बिजनौर में पूर्ण बाढ़ जैसे हालात बन सकते हैं। प्रशासन को चाहिए कि जल्द से जल्द राहत एवं बचाव कार्य तेज करे और प्रभावित इलाकों में जरूरी सहायता पहुँचाई जाए।
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