भाकियू (शंकर) का अमरोहा कलेक्ट्रेट पर जोरदार प्रदर्शन, किसानों की समस्याओं को लेकर सौंपा गया ज्ञापन
- bharatvarshsamaach
- Jun 7
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अमरोहा, 6 जून — भ्रष्टाचार और किसानों की समस्याओं को लेकर भारतीय किसान यूनियन (शंकर) ने शुक्रवार को अमरोहा कलेक्ट्रेट पर एक विशाल धरना-प्रदर्शन किया। इस मौके पर संगठन से जुड़े हज़ारों की संख्या में कार्यकर्ता और किसान मौजूद रहे। प्रदर्शन के दौरान जमकर नारेबाजी हुई और मुख्यमंत्री व प्रधानमंत्री को संबोधित मांगपत्र प्रशासन को सौंपा गया।
धरना प्रदर्शन की अध्यक्षता चौधरी धर्मवीर सिंह ने की जबकि संचालन प्रदेश प्रवक्ता प्रिंसिपल सत्यवीर सिंह ने किया। संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी दिवाकर सिंह ने सभा को संबोधित करते हुए कई गंभीर मुद्दों को उठाया।
उन्होंने कहा कि अमरोहा जनपद के गठन को 28 वर्ष हो चुके हैं, लेकिन अभी तक जिला सहकारी बैंक बोर्ड का गठन नहीं किया गया है। उन्होंने मांग की कि बैंक का मुख्यालय अमरोहा शहर में स्थापित किया जाए। इसके साथ ही उन्होंने इफ्को संस्था में सामने आए बड़े स्तर के भ्रष्टाचार का हवाला देते हुए नकली उर्वरकों और महंगे नकली पेस्टिसाइड्स पर कार्रवाई की मांग की।
उन्होंने कहा कि नकली उर्वरकों के कारण देशभर के किसानों और उनकी ज़मीनों को भारी नुकसान पहुंच रहा है। सभी उर्वरकों व कीटनाशकों की सेम्पलिंग कराई जाए और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो।
विद्युत विभाग पर लगाए गंभीर आरोप
राष्ट्रीय अध्यक्ष ने विद्युत विभाग पर किसानों के शोषण का आरोप लगाते हुए कृषि फीडर की 10 घंटे निर्बाध आपूर्ति और बिजली बिलों में की जा रही हेराफेरी को रोकने की मांग की।
भूमि अधिग्रहण का विरोध, रोजगार और मुआवजे की मांग
चक्कालीलेट गांव में बनने जा रहे कंटेनर डिपो को लेकर किसानों ने मुआवजा ₹32 लाख प्रति बीघा और प्रभावित परिवारों से एक सदस्य को रोजगार देने की मांग की।
शिक्षामित्र, बैंकिंग और शुगर मिल को लेकर मांगें
प्रदर्शनकारियों ने प्रदेश में TET पास शिक्षामित्रों को नियमित शिक्षक का दर्जा देने और ₹40,000 मासिक वेतन तय करने की मांग की। किसानों के लिए KCC खाता आजीवन वैध करने और बैंक खाता पोर्ट करने की सुविधा की भी मांग उठाई गई।
उन्होंने वेव शुगर मिल द्वारा किसानों के बकाया भुगतान में देरी और गन्ने की तौल में कटौती जैसे मामलों की जांच और सुधार की मांग की।
सड़क सुरक्षा और सरकारी सेवाओं में सुधार की मांग
प्रदर्शन में ओवरलोड वाहनों से सड़कों को हो रहे नुकसान, अवैध डग्गामार वाहनों से बढ़ती दुर्घटनाओं, और आधार केंद्रों पर हो रही अवैध वसूली पर भी नाराज़गी जताई गई।
गंगा रिवर फ्रंट और पर्यावरण को लेकर मांग
तिगरी से ब्रजघाट तक गंगा रिवर फ्रंट बनाकर इसे पर्यटक स्थल घोषित करने और गंगा की शुद्धता बनाए रखने हेतु विद्युत शवदाह गृह के निर्माण की मांग की गई।
प्रशासनिक अधिकारियों ने सुनी समस्याएं
धरना स्थल पर पहुंचे जिला गन्ना अधिकारी, अधिशासी अभियंता, नोडल उपसंचालक चकबंदी, कृषि अधिकारी, परिवहन अधिकारी समेत कई विभागीय अधिकारियों ने किसानों की समस्याएं सुनी और समाधान का आश्वासन दिया।
प्रमुख उपस्थित लोग
धरने में नेमपाल सिंह, शेर सिंह राणा, डॉ. योगेंद्र सिंह खड़कवंशी, विक्रम गुर्जर, राकेश चौहान, सत्येंद्र सिंह, सुभाष यादव, सीमा देवी, रश्मि चौधरी, प्रीत सिद्धू सहित बड़ी संख्या में किसान, महिला कार्यकर्ता और संगठन के पदाधिकारी मौजूद रहे।
निष्कर्ष
भाकियू (शंकर) का यह प्रदर्शन किसानों की आवाज़ को मजबूती से सामने लाता है। अब देखना यह होगा कि प्रशासन और सरकार इस मांगपत्र पर कितनी त्वरित और ठोस कार्रवाई करती है। संगठन ने चेतावनी दी है कि समस्याओं का समाधान न होने पर आंदोलन को और तेज किया जाएगा।

















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