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बलरामपुर में दहेज हत्या का बड़ा खुलासा — एक साल बाद सामने आया सच, चार आरोपी और एक नाबालिग गिरफ्तार

  • bharatvarshsamaach
  • Jul 3
  • 2 min read

रिपोर्टर :- योगेन्द्र त्रिपाठी

स्थान :- बलरामपुर


उत्तर प्रदेश के बलरामपुर जनपद के रेहरा बाजार थाना क्षेत्र में दहेज लोभियों की हैवानियत एक बार फिर सामने आई है। एक साल पहले जो मामला "घरेलू दुर्घटना" के तौर पर दर्ज हुआ था, वह अब दहेज हत्या की सुनियोजित साजिश साबित हो चुका है।

पुलिस ने इस जघन्य अपराध में शामिल चार वयस्क आरोपियों और एक नाबालिग को गिरफ्तार कर पूरे मामले का पर्दाफाश कर दिया है।


इस सनसनीखेज वारदात का खुलासा उस वक्त हुआ जब पीड़िता की मां लीलावती ने 19 जून 2025 को थाना रेहरा बाजार में तहरीर देकर न्याय की गुहार लगाई।


घटना का विवरण:

पीड़िता की मां ने अपनी तहरीर में बताया कि उनकी बेटी की शादी डेढ़ वर्ष पूर्व अनिल कुमार पुत्र राधेश्याम उर्फ बाबूलाल निवासी गनवरिया बुजुर्ग, थाना रेहरा बाजार से मंदिर में सादे समारोह में हुई थी।

शादी के तुरंत बाद से ही ससुराल पक्ष दहेज की मांग को लेकर युवती को प्रताड़ित करने लगा। पीड़िता को अक्सर शारीरिक और मानसिक तौर पर टॉर्चर किया जाता था


21 अगस्त 2024 की रात, जब युवती अपने कमरे में सो रही थी, तब पति, सास-ससुर और परिवार की अन्य बेटियों ने मिलकर उस पर ज्वलनशील पदार्थ डालकर आग लगा दी

गंभीर रूप से झुलसी युवती को अस्पताल में भर्ती कराया गया, लेकिन इलाज के दौरान 26 अगस्त 2024 को उसकी मौत हो गई।


पुलिस की कार्रवाई:

मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी विकास कुमार के निर्देशन में रेहरा बाजार थाना प्रभारी और टीम ने त्वरित कार्रवाई करते हुए

  • राधेश्याम उर्फ बाबूलाल (ससुर)

  • अनिल कुमार (पति)

  • आरती देवी (सास)

  • रेशमा (ननद)सहित एक नाबालिग को गिरफ्तार कर लिया

पूछताछ में आरोपियों ने जुर्म कबूलते हुए बताया कि दहेज न मिलने की वजह से ही उन्होंने यह अमानवीय कृत्य किया।


कानूनी कार्रवाई:

पुलिस ने मुकदमा संख्या 109/2025 के तहत

  • धारा 80(2), 85 भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस)

  • एवं दहेज निषेध अधिनियम की धारा 3/4 के तहतमामला दर्ज किया है।


बाइट:

विशाल पांडेय, अपर पुलिस अधीक्षक, बलरामपुर

"पुलिस ने सभी नामजद अभियुक्तों को गिरफ्तार कर न्यायालय में प्रस्तुत किया है, जहां से उन्हें न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है। वहीं नाबालिग को बाल सुधार गृह भेजने की प्रक्रिया जारी है।"

समाज को संदेश:

दहेज रूपी दानव ने फिर एक बेटी की जिंदगी छीन ली। यह घटना सिर्फ एक परिवार का दुःख नहीं, बल्कि समाज की एक बड़ी विफलता भी है।सवाल यह है — क्या हमारी बेटियों की सुरक्षा और सम्मान अब भी दहेज के तराजू पर तोली जाएगी?




रिपोर्टर :- योगेन्द्र त्रिपाठी

भारतवर्ष समाचार

संपर्क: 9410001283

वेबसाइट: www.bharatvarshsamachar.org


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